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क्या आपने देखा भारत में बना दुनिया का सबसे ऊंचा दरवाजा, जानें खासियत

सन 1571 से लेकर 1585 तक आगरा के पास स्थित फतेहपुर सीकरी मुगल शासकों की राजधानी रही थी। यह बुलंद दरवाजा यहीं पर स्थित है। देश-विदेश से हजारों पर्यटक यहां पर घूमने आते हैं।

बुलंद दरवाजा। फोटो साभार सोशल मीडिया

भारत के उत्तर प्रदेश में स्थित आगरा शहर वैसे तो अपने विश्व प्रसिद्ध ताजमहल के लिए पूरी दुनिया में मशहूर है। लेकिन क्या आप जानते हैं कि यहां पर 'दुनिया का सबसे ऊंचा दरवाजा' भी है। ऐसा दरवाजा जिसकी ऊंचाई 53 मीटर और चौड़ाई 35 मीटर से भी ज्यादा है। इस दरवाजे को 400 साल से ज्यादा हो चुके हैं, लेकिन यह आज भी बुलंदी से खड़ा है। चौंक गए न! आज इसी दरवाजे की कहानी और इससे जुड़े कुछ रोचक तथ्य आपको बताते हैं।

बुलंद दरवाजा जिसकी ऊंचाई 53 मीटर और चौड़ाई 35 मीटर से भी ज्यादा है। फोटो साभार सोशल मीडिया

दुनिया का यह सबसे ऊंचा दरवाजा बुलंद दरवाजा के नाम से मशहूर है। इसका निर्माण 1602 ईसवी में हुआ था। भारत में मुगल सम्राट अकबर ने इसे बनवाया था। बताया जाता है कि गुजरात पर विजय हासिल करने के बाद सम्राट अकबर ने इस दरवाजे का निर्माण कराया था। दक्कन पर जीत के अभिलेख यहां पर अभी तक लगे हुए हैं।

सन 1571 से लेकर 1585 तक आगरा के पास स्थित फतेहपुर सीकरी मुगल शासकों की राजधानी रही थी। यह बुलंद दरवाजा यहीं पर स्थित है। देश-विदेश से हजारों पर्यटक यहां पर घूमने के लिए और प्राचीन इतिहास के इस नायाब नमूने को निहारने के लिए आते हैं।

बुलंद दरवाजे से जुड़े कुछ रोचक तथ्य-

यह दरवाजा 53.63 मीटर ऊंचा है और इसकी चौड़ाई 35 मीटर है।
यह दरवाजा फारसी और हिंदू स्थापत्य कला का बेजोड़ नमूना है।
इसका निर्माण 1602 में लाल बलुआ पत्थर से किया गया था।
सफेद और काले संगमरमर से इसे खूबसूरती से सजाया गया है।
इस दरवाजे के आगे और स्तंभों पर कुरान की आयतें लिखी हैं।
तोरण द्वार पर बाइबल की कुछ पंक्तियां भी लिखी हुई हैं।
बुलंद दरवाजे पर पारसी में शिलालेख भी लगा हुआ है।
280 फुट ऊंचे इस दरवाजे को बनाने में 12 साल का वक्त लगा था।
इसमें लगे विशाल किवाड़ आज भी ज्यों के त्यों सुरक्षित हैं।
दरवाजे के आगे 42 सीढ़ियां बनी हैं, जिनसे चढ़कर लोग अंदर जाते हैं।
मुगल कालीन यह विरासत यूनेस्को से प्रमाणित विश्व संरक्षित स्थल है।

कैसे देखने जाएं-
यह बुलंद दरवाजा आगरा से करीब 40 किलोमीटर दूर फतेहपुर सीकरी में स्थित है। वैसे तो आगरा में भी एयरपोर्ट है। लेकिन अधिकतर विदेशी पर्यटक दिल्ली के अंतरराष्ट्रीय एयरपोर्ट से टैक्सी या पर्यटक वाहनों के जरिए आगरा घूमने जाते हैं। आगरा शहर ट्रेन, बस और निजी पर्यटक वाहनों से अन्य प्रमुख शहरों से अच्छी तरह जुड़ा हुआ है।

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