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ब्राइटन ने रचा इतिहास, भारतीय-अमेरिकी विक्रम विल्खू बने पहले आपराधिक न्यायाधीश

विल्खू ने कहा कि जब मेरे पिता अमेरिका आए थे तब लोग उनका नाम भी ठीक से नहीं ले पाते थे। जब मेरे पिता अमेरिका आये तो उन्हे कोई नहीं जानता था। उनपर किसी का ध्यान नहीं जाता था। मगर अब उनका नाम पहली कतार में है।

शपथ ग्रहण के बाद विल्खू ने अपने पिता को विशेष तौर पर धन्यवाद दिया। Image : voteforvik.org

अमेरिका के ब्राइटन शहर ने सोमवार को उस समय इतिहास रच डाला जब विक्रम विल्खू ने शहर के पहले भारतीय-अमेरिकी आपराधिक न्यायाधीश के रूप में पद की शपथ ली। ब्राइटन टाउन कोर्ट के न्यायाधीश विक्रम विल्खू अमेरिका में भारतीय अप्रवासियों के घर जन्मे एक डेमोक्रेट हैं। शपथ ग्रहण समारोह में विल्खू के साथ पूरा परिवार मौजूद रहा। शपथ ग्रहण के बाद विल्खू ने अपने पिता को विशेष तौर पर धन्यवाद दिया।

विल्खू ने कहा कि जब मेरे पिता अमेरिका आए थे तब लोग उनका नाम भी ठीक से नहीं ले पाते थे। जब मेरे पिता अमेरिका आये तो उन्हे कोई नहीं जानता था। उनपर किसी का ध्यान नहीं जाता था। मगर अब उनका नाम पहली कतार में है। वह दो सीनेटर्स और कंट्री एग्जीक्यूटिव के अलावा कई गणमान्य लोगों के साथ यहां बैठे हैं। यह मेरे लिए इस देश में एक यादगार पल है।

पिछले महीने ही ब्राइटन के पास न्यूयॉर्क राज्य के 250 साल के इतिहास में पहले भारतीय-अमेरिकी आपराधिक न्यायाधीश को चुनने का अवसर था। चुने जाने के बाद विल्खू ने कहा कि शायद दुनिया में कहीं और यह सपना संभव नहीं है, लेकिन यह यहां संभव है। यह ब्राइटन में संभव है।

voteforvik.org के अनुसार विक का जन्म और पालन-पोषण अपस्टेट-न्यूयॉर्क में हुआ। उनके माता-पिता ने उन्हें यह सिखाया कि शिक्षा, कड़ी मेहनत, ईमानदारी और निस्वार्थ सेवा के माध्यम से वह अपने परिवार को गौरवान्वित कर सकते हैं और सफल हो सकते हैं। विक हिंदी और अंग्रेजी बोलते हैं और अक्सर अपने परिवार के लिए दो दुनियाओं और अपने घर के बाहर की बड़ी अमेरिकी दुनिया के बीच एक सेतु की तरह दिखलाई पड़ते हैं।

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