अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन ने अपनी व्यापार नीति एवं वार्ता सलाहकार समिति में दो भारतीय-अमेरिकी नागरिकों को नियुक्त किया है। ये हैं रेवती अद्वैती और मनीष बापना। रेवती फ्लेक्स कंपनी की मुख्य कार्यकारी अधिकारी हैं जबकि मनीष प्राकृतिक संसाधन रक्षा परिषद (NRDC) के सीईओ हैं।
व्हाइट हाउस ने कहा कि 2019 से फ्लेक्स के सीईओ रेवती कंपनी की रणनीतिक दशा-दिशा तैयार करने की जिम्मेदारी संभालती हैं और उनके निर्देशन में कंपनी अपना कायापलट किया है। इससे पहले रेवती ईटन कंपनी में थीं। एक लाख कर्मचारियों वाली इस कंपनी का टर्नओवर 20 बिलियन डॉलर से अधिक है। वह उबर और Catalyst.org के निदेशक मंडल में भी रही हैं।
रेवती अद्वैती को फॉर्च्यून मैगजीन ने चार साल तक उद्योग जगत की सबसे शक्तिशाली महिलाओं की अपनी सूची में भी जगह दी। बिजनेस टुडे की भारत में सबसे शक्तिशाली महिलाओं की सूची में भी वह शुमार रही हैं। अद्वैती विश्व आर्थिक मंच के उन्नत विनिर्माण सीईओ समुदाय की सह-अध्यक्ष हैं और सीईओ क्लाइमेट लीडर्स के विश्व आर्थिक मंच (डब्ल्यूईएफ) एलायंस में भी रही हैं। रेवती ने बिड़ला इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी एंड साइंस से डिग्री ली है। इसके साथ ही थंडरबर्ड स्कूल ऑफ ग्लोबल मैनेजमेंट से एमबीए भी किया है।
मनीष के बारे में बताएं तो वह एनआरडीसी के सीईओ और प्रेसिडेंट हैं। ने पिछली आधी सदी में कई पर्यावरणीय उपलब्धियां हासिल करने में इस कंपनी की महत्वपूर्ण भूमिका रही है। व्हाइट हाउस के अनुसार मनीष बापना ने विश्व संसाधन संस्थान, मैकिन्से एंड कंपनी और विश्व बैंक में भी काम किया है।
एक अर्थशास्त्री के रूप में प्रशिक्षण लेने के बाद मनीष बापना ने मैकिन्से एंड कंपनी से शुरुआत की थी। उसके बाद विश्व बैंक में सेवाएं दीं। उसके बाद बैंक सूचना केंद्र में करियर बनाया। उन्होंने हार्वर्ड विश्वविद्यालय से व्यापार, राजनीतिक एवं आर्थिक विकास में मास्टर डिग्री ली है। इसके अलावा एमआईटी से इलेक्ट्रिकल इंजीनियरिंग में स्नातक किया है।
इस समिति में 45 सदस्य होते हैं, जिन्हें राष्ट्रपति अमेरिकी व्यापार प्रतिनिधि की सिफारिश पर नियुक्त करते हैं। इनमें सामान्य व्यापार, निवेश और विकास से जुड़े मुद्दों पर विशेषज्ञता रखने वाले लोग होते हैं। साथ ही गैर-संघीय सरकारों, श्रम, उद्योग, कृषि, छोटे व्यवसाय, सेवा उद्योग, खुदरा विक्रेताओं, गैर-सरकारी पर्यावरण व संरक्षण संगठनों और उपभोक्ता हितों के प्रतिनिधियों को भी जगह दी जाती है।