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मंदी के इस दौर में भारतीय छात्रों को लेकर क्यों आशावादी हैं US के डीन?

यूनिवर्सिटी ऑफ सदर्न कैलिफोर्निया के मार्शल स्कूल ऑफ बिजनेस के डीन जेफ्री गैरेट का कहना है कि भारतीय छात्र अविश्वसनीय रूप से अच्छा करते हैं। इसका कारण यह है कि उनके पास एक तरफ कंप्यूटर विज्ञान और गणित में दक्षता है। दूसरी ओर संवाद करने और नेतृत्व कौशल में वे माहिर होते हैं।

Photo by javier trueba / Unsplash

यह साल का वह समय होता है जब भारतीय छात्र अमेरिका के विभिन्न विश्वविद्यालयों में शामिल होने के लिए अपने वीजा साक्षात्कार की तैयारी कर रहे होते हैं। लेकिन अमेरिका में तमाम आर्थिक अनिश्चितताओं के कारण यह साल रोजगार के मोर्चे पर हर किसी के लिए चुनौतीपूर्ण होने जा रहा है। लेकिन यूनिवर्सिटी ऑफ सदर्न कैलिफोर्निया के मार्शल स्कूल ऑफ बिजनेस के डीन जेफ्री गैरेट की राय इससे जुदा है। वह भारतीय छात्रों का भविष्य बेहतर देखते हैं।

मार्शल स्कूल ऑफ बिजनेस के डीन जेफ्री गैरेट Photo : Twitter @garrett_geoff

गैरेट का कहना है कि भारतीय छात्र अविश्वसनीय रूप से अच्छा करते हैं। इसका कारण यह है कि उनके पास एक तरफ कंप्यूटर विज्ञान और गणित में दक्षता है। दूसरी ओर संवाद करने और नेतृत्व कौशल में वे माहिर होते हैं। मार्शल स्कूल में वर्तमान में लगभग 300 भारतीय छात्र हैं। गैरेट पिछले हफ्ते भारत दौरे पर गए थे।

गैरेट के मुताबिक हर कोई जानता है कि अमेरिकी अर्थव्यवस्था में काफी अनिश्चितता है। लेकिन अगर आप आने वाले दो साल से पांच साल की अवधि की बात करें तो अभी नामांकन लेने वाले अधिकांश छात्रों के लिए उस वक्त रोजगार के कई मौके उपलब्ध रहेंगे। इसकी वजह यह है कि अमेरिकी अर्थव्यवस्था वापस पटरी पर आ जाएगी। गिरावट पर फेडरल रिजर्व ने ब्रेक लगाया है। उन्होंने कहा कि मैं 2023 में दाखिला लेने वाले छात्रों के लिए वास्तविक रूप से आशावादी हूं।

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गैरेट का कहना है कि उन्हें लगता है कि जब तक वे स्नातक होंगे, तब तक नौकरी का बाजार उनके लिए पूरी तरह से खुले रहेंगे। Photo by Hunters Race / Unsplash

गैरेट का कहना है कि उन्हें लगता है कि जब तक वे स्नातक होंगे, तब तक नौकरी का बाजार उनके लिए पूरी तरह से खुले रहेंगे। गैरेट के अनुसार इस साल मार्शल स्कूल में सभी डिग्री कार्यक्रमों की रिकॉर्ड मांग है। भारतीय छात्रों के लिए जिन क्षेत्रों की सबसे अधिक मांग है वे वित्त और प्रौद्योगिकी हैं। इसमें डेटा विज्ञान शामिल हैं। उन्होंने कहा कि हम भारत से उच्च गुणवत्ता वाले छात्रों को उच्च संख्या में आकर्षित कर रहे हैं। मुझे लगता है कि इन संख्याओं का विस्तार होगा।

उन्होंने कहा कि यहां के स्नातकों के लिए हमारी प्लेसमेंट दर अविश्वसनीय रूप से उच्च है। तेजी से रोजगार का मार्ग इंटर्नशिप के माध्यम से उपलब्ध है, इसलिए हमने इंटर्नशिप पर बहुत ध्यान केंद्रित किया है। बिजनेस स्कूल में दूसरे नंबर के कमांड और अंडरग्रेजुएट स्कूल के डीन रमनदीप रंधावा भारतीय मूल के हैं। इसके साथ ही यहां सीनियर डेटा साइंटिस्ट और एसोसिएट प्रोफेसर विशाल गुप्ता भी हैं। सेंटर फॉर ग्लोबल सप्लाई चेन मैनेजमेंट के निदेशक निक व्यास और प्रोफेसर नंदिनी राजगोपालन भी इनमें शामिल हैं।

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