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भारतीय-अमेरिकियों ने लहराया जीत का परचम, सुहास राज्य सीनेट में

सुहास पिछले चार वर्षों से प्रतिनिधि सभा में पूर्वी लाउडाउन का प्रतिनिधित्व कर रहे हैं। अपने काम के दम पर वह एक बार फिर विजेता बनकर उभरे हैं।

जीत के बाद सुहास सुब्रमण्यम और गजाला हाशमी। (तस्वीरें सुहास और गजाला के चुनाव अभियान से साभार)

भारतीय-अमेरिकी डेमोक्रेट्स ने वर्जीनिया में अच्छा प्रदर्शन करते हुए राज्य सीनेट में 'नीला बहुमत' बरकरार रखा। शानदार प्रदर्शन के दम पर सुहास सुब्रमण्यम ने जिला 32 का प्रतिनिधित्व करने के लिए अपनी राज्य सीनेट सीट जीत ली है। सुहास पिछले चार वर्षों से प्रतिनिधि सभा में पूर्वी लाउडाउन का प्रतिनिधित्व कर रहे हैं। अपने काम के दम पर वह एक बार फिर विजेता बनकर उभरे हैं।

सीनेट सीट जीतने के बाद सुहास ने कहा- मैं बहुत आभारी हूं कि लाउडाउन काउंटी के लोग मुझे महासभा में वापस भेज रहे हैं। मैं हमेशा समुदाय के लिए लड़ता रहा हूं और भविष्य में भी यहां के लोगों के लिए अपना संघर्ष जारी रखूंगा।

सुहास की अभियान वेबसाइट के अनुसार वह एक छोटे व्यवसाय के मालिक हैं। सुब्रमण्यम सार्वजनिक शिक्षा के लिए वित्त पोषण में सुधार, स्वास्थ्य देखभाल लागत को कम करने, ग्रीनहाउस गैस उत्सर्जन को और कम करने, वोट देने के अधिकार की रक्षा करने, वर्जीनिया में मतपत्र तक पहुंच में सुधार करने और कोविड के बदलते प्रभावों के माध्यम से वर्जिनियावासियों का समर्थन करने में लगे रहे हैं।

राज्य सीनेट में उनके साथ बांग्लादेशी अमेरिकी सद्दाम सलीम और निवर्तमान गजाला हाशमी भी शामिल हैं। सलीम ने राज्य के 37वें जिले में 68 प्रतिशत वोट प्राप्त करके केन रीड को हराया जबकि जिला 15 का प्रतिनिधित्व करने वाली हाशमी ने 62 प्रतिशत वोट हासिल किये।

स्टेट सीनेट में कन्नन श्रीनिवासन ने जिला 26 का प्रतिनिधित्व करने के लिए वर्जीनिया हाउस ऑफ डेलीगेट्स में एक सीट जीती। अपने अभियान के दौरान श्रीनिवासन ने अपने पब्लिक स्कूलों के लिए लड़ने, बंदूक से सुरक्षा के लिए खड़े होने और गर्भपात अधिकारों की रक्षा करने का वादा किया था। कन्नन लगभग 25 वर्षों से लाउडाउन के निवासी हैं 1993 में भारत से आकर यहां बस गए।

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