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जालसाजी के आरोपों से मुक्त हुए पटेल, न्याय विभाग सबूत नहीं दे पाया

अमेरिकी के डिस्ट्रिक्ट जज विक्टर बोल्डन ने कहा कि न्याय विभाग (DOJ) यह साबित करने में विफल रहा कि महेश पटेल और पांच अन्य कर्मचारियों ने कोई साजिश रची। उन्होंने ऐसा कोई समझौता नहीं किया जिससे कर्मचारियों की भर्ती को रोका जा सके।

प्रतीकात्मक पिक्चर।

अमेरिका में एक एयरोस्पेस इंजीनियरिंग कंपनी में एक्जीक्यूटिव रहे भारतीय मूल के एक शख्स को अदालत ने आरोप मुक्त किया है। प्रैट एंड व्हिटनी नाम की कंपनी के पूर्व एक्जीक्यूटिव महेश पटेल समेत पांच अन्य कर्मचारियों पर आरोप लगाए गए थे कि उन्होंने श्रमिकों की गतिशीलता (Mobility) और उनके करियर की संभावनाओं को सीमित करने की साजिश रची। हालांकि न्याय विभाग यह साबित करने में विफल रहा।

प्रैट एंड व्हिटनी नाम की कंपनी के पूर्व एक्जीक्यूटिव थे महेश पटेल Photo : Wiki commons

अमेरिकी के डिस्ट्रिक्ट जज विक्टर बोल्डन ने कहा कि न्याय विभाग (DOJ) यह साबित करने में विफल रहा कि महेश पटेल और पांच अन्य कर्मचारियों ने एक दूसरे के कर्मचारियों की भर्ती से बचने के लिए आठ साल का नो-पोच (No-pooch) समझौता करके व्यापार को रोक दिया।

बोल्डन ने कहा कि साक्ष्यों से पता चलता है कि कंपनियों ने एक-दूसरे के इतने सारे कर्मचारियों को नो-पोच समझौता के लिए बनी सहमति के अपवादों के तहत काम पर रखा था। बोल्डन ने लिखा कि इस डील में ही इतने अपवाद हैं कि इस डील के जरिए श्रमिकों की आपूर्तिकर्ता कंपनियां प्रैट और व्हिटनी की परियोजनाओं में इंजीनियरों की आपूर्ति नहीं कर सकती।

बता दें कि कनेक्टिकट में एक फेडरल ग्रांड जूरी ने 2021 में पटेल और बाकी सभी आरोपियों पर 26 साल के लिए अभियोग लगाया था। पटेल के वकील ब्रायन स्पीयर्स ने कहा कि मैं आभारी हूं कि पटेल के लिए न्याय हुआ और उनकी बेगुनाही इतनी मजबूती से स्थापित हुई है।

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