अफ्रीकी देश में तख्तापलट के बाद विदेश मंत्रालय ने एक एडवाइजरी जारी कर उन भारतीय नागरिकों से जल्द से जल्द देश छोड़ने को कहा है जिनकी नाइजर में मौजूदगी जरूरी नहीं है। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने मीडिया ब्रीफिंग में कहा कि भारत सरकार नाइजर की स्थिति पर बारीकी से नजर रख रही है और लोगों से यह भी कहा है कि अगर वे नियामी की यात्रा कर रहे हैं तो वे अपनी योजनाओं पर पुनर्विचार करें। बता दें कि वहां करीब 250 भारतीय हैं।
बागची ने कहा कि मौजूदा स्थिति के मद्देनजर जिन भारतीय नागरिकों की उपस्थिति आवश्यक नहीं है उन्हें जल्द से जल्द भारत सरकार की ओर से देश छोड़ने की सलाह दी जाती है। वे यह ध्यान रखें कि हवाई क्षेत्र वर्तमान में बंद है। प्रस्थान करते समय भूमि सीमा के माध्यम से सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए अत्यधिक सावधानी बरतें। जो लोग आने वाले दिनों में नाइजर की यात्रा की योजना बना रहे हैं उन्हें भी स्थिति सामान्य होने तक अपनी यात्रा योजनाओं पर पुनर्विचार करने की सलाह दी जाती है।
विदेश मंत्रालय ने कहा कि उन सभी भारतीय नागरिकों को जिन्होंने नियामी (नाइजर की राजधानी) में भारतीय दूतावास में पंजीकरण नहीं कराया है उन्हें जल्द से जल्द पंजीकरण करने की सलाह सरकार की ओर से दी जाती है। भारतीय नागरिक नियामी में भारतीय दूतावास में आपातकालीन संपर्क करने के लिए 22799759975 नंबर का प्रयोग कर सकते हैं।
नाइजर में फंसे भारतीयों की संख्या के बारे में पूछे गए सवाल का जवाब देते हुए बागची ने कहा कि वहां करीब 250 भारतीय हैं। विदेश मंत्रालय उन लोगों से खुद को पंजीकृत करने का अनुरोध कर रहा है जिन्होंने अपना नाम भारतीय दूतावास में पंजीकृत नहीं कराया है। नियामी में भारतीय दूतावास संपर्क में है। हमें बताया गया है कि वे सुरक्षित हैं।
नाइजर पिछले महीने के अंत से राजनीतिक अराजकता में घिरा हुआ है जब देश के राष्ट्रपति मोहम्मद बजौम को तख्तापलट में अपदस्थ कर दिया गया था। सैन्य तख्तापलट के बाद नाइजर के राष्ट्रपति गार्ड के कमांडर अब्दौराहामाने तियानी ने खुद को देश का नेता घोषित कर दिया है।