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अमेरिका में बंदूक की जानलेवा हिंसा का चढ़ता ग्राफ, जिम्मेदारी किसकी?

यह तर्क देना कि "बंदूकें लोगों को नहीं मारती हैं, लोग ही दूसरे लोगों को मारते हैं" भेड़-बकरियों को दोष देने के बराबर है और व्यावसायिक हितों को बढ़ावा देने वाले समूहों के शिकार होने का संकेत भी है। निस्संदेह कानूनों को कड़ा किया गया है लेकिन जाहिर तौर पर अभी मीलों दूर का सफर बाकी है।

इस बार का छुट्टियों का मौसम संयुक्त राज्य अमेरिका में चौंकाने वाला रहा। एक के बाद एक शर्मनाक घटनाओं ने बंदूकधारियों के हौंसले बुलंद किए और उन्होंने बेगुनाह लोगों की हत्या कर दी। इसे हेट क्राइम कहें तो गलत नहीं होगा।

कोलोराडो स्प्रिंग्स में एक प्रमुख LGBTQ बार में एक व्यक्ति ने क्रूरता दिखाते हुए अपनी बंदूक खाली कर दी जिससे छह लोगों की मौत हो गई। इसके कुछ ही दिनों बाद वर्जीनिया के एक प्रमुख थोक स्टोर में रात की ड्यूटी कर रहे एक प्रबंधक ने अपने पांच सहयोगियों को मार दिया।

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