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भारत के कोरोना टीकों पर अमेरिकी सांसदों ने बाइडन को कही यह विशेष बात

सांसदों ने लिखा है कि हमें लगता है कि अमेरिका के पास उन देशों के लिए कोरोना रोधी टीकों को उपलब्ध कराने का अवसर है, जहां टीके की असमानता दुनिया के कुछ सबसे गरीब और सबसे कमजोर लोगों पर अपना असर डाल रही है।

अमेरिका के प्रभावशाली ‘हिस्पैनिक कॉकस’की अगुवाई में कांग्रेस के 10 सदस्यों ने अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन से कोविड-19 महामारी को समाप्त करने के लिए भारत के साथ मिलकर टीके पर सहयोग करने का आग्रह किया है। बाइडन को लिखे एक पत्र में प्रतिनिधिमंडल के सदस्यों ने अमेरिकी प्रशासन से लाखों लोगों की जान बचाने और विश्वव्यापी महामारी के अंत के लिए कम आय वाले देशों में किफायती टीकों के वितरण की मुहिम का नेतृत्व करने का अनुरोध किया। सांसदों ने राष्ट्रपति बाइडन से भारत-अमेरिकी भागीदारी के जरिए दो टीकों कॉर्बीवैक्स और कोवोवैक्स के माध्यम से दुनिया में टीकों की असमानता दूर करने और समान वितरण का अनुरोध किया है।

illustration of synovac covid-19 vaccination injection
कम आय वाले देशों में महज 10% लोगों को ही वैक्सीन की एक खुराक मिल पाई है। Photo by Mufid Majnun / Unsplash

टेक्सास के तीन डेमोक्रेटिक प्रतिनिधियों वेरोनिका एस्कोबार, विसेंट गोंजालेज और सिल्विया आर गार्सिया के नेतृत्व में पिछले दिनों भेजे गए इस पत्र पर भारतीय-अमेरिकी कांग्रेसी रो खन्ना सहित कैलिफोर्निया, फ्लोरिडा और गुआम के सात अन्य प्रतिनिधियों ने हस्ताक्षर किए हैं। इन सदस्यों ने आम लोगों के बीच टीकों की पहुंच में मौजूद गंभीर असमानता की ओर इशारा किया है। इनका कहना है कि हालांकि दुनिया की 61.3% आबादी को वैक्सीन की कम से कम एक खुराक मिल चुकी है। लेकिन कम आय वाले देशों में महज 10% लोगों को ही वैक्सीन की एक खुराक मिल पाई है।

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