सिंगापुर में भारतीय मूल के एक शख्स को स्पाइडरमैन बनना महंगा पड़ गया। पिछले साल नए साल के जश्न के मौके पर भारतीय मूल के 19 वर्षीय युवा ने कोरोना वायरस के लिए बनाए गए दिशा-निर्देशों को तोड़ा और स्पाइडरमैन बनकर अपने यूट्यूब चैनल के लिए वीडियो बना डाली। कोरोना वायरस से बचाव के लिए बनाए गए दिशा-निर्देशों का उल्लंघन करने के लिए कोटरा वेंकट साई रोहनकृष्ण नाम के इस युवा पर 4,000 सिंगापुरी डॉलर यानी लगभग सवा दो लाख रुपये का जुर्माना लगाया गया है।
पूरा मामला यह है कि रोहनकृष्ण ने नए साल की पूर्व संध्या पर एक नदी के किनारे स्पाइडरमैन की पोशाक पहनकर अपने दोस्तों के साथ पार्टी की और अपने यूट्यूब चैनल के लिए वीडियो बनाई, जिसे उसने कुछ दिनों बाद यूट्यूब पर अपलोड किया था। रोहनकृष्ण समेत वे पांच दोस्तों थे जो इकट्ठा होने की अनुमति नहीं होने के बावजूद सिंगापुर के क्लार्क क्वे में वीडियो शूट के लिए इकट्ठा हो गए। स्पाइडरमैन की पोशाक पहने रोहनकृष्ण ने ही अपने YouTube चैनल के लिए भीड़ को सक्रिय रूप से शामिल किया था।
अदालत के दस्तावेजों के अनुसार रोहनकृष्ण को अपने यूट्यूब चैनल के लिए एक वीडियो बनाने के लिए नशे में धुत लोगों का साक्षात्कार लेने का विचार आया। उसमें उसके दो चीनी दोस्त ग्लैक्सी लो जुआन मिंग और ली हर्न सिंग ने साथ दिया। जबकि अन्य भारतीय मूल के पुचाकायाला आकाश ने भी रोहनकृष्ण की मदद की। ली और आकशा ने लाइटिंग और कैमरा उपकरण संभाले हुए थे, जबकि लो वीडियो में रेसलिंग मास्क पहने हुए एक्टिंग कर रहा है।
उप लोक अभियोजक जेरेमी बिन ने कहा कि रोहनकृष्ण ध्यान आकर्षित करने के लिए स्पाइडरमैन की पोशाक में था। सभी ने कोरोना नियमों का उल्लंघन करते हुए मास्क भी नहीं पहना हुआ था। इन्होंने चार मिनट 22 सेकंड की एडिटेड वीडियो बनाकर यूट्यूब पर डाली हुई है। बिन ने अदालत में बताया कि रोहनकृष्ण ने पूर्व नियोजित उल्लंघन में आउटिंग का आयोजन किया था। हालांकि उल्लंघन की प्रकृति और जुर्म के आधार पर जुर्माना पर्याप्त है। बता दें कि कोविड-19 के नियमों के उल्लंघन करने का दोषी पाए जाने पर 10,000 सिंगापुरी डॉलर यानी लगभग 5 लाख 65 हजार रुपये तक का जुर्माना या छह महीने तक की जेल या दोनों का प्रावधान है।