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जान बचाकर यूक्रेन से यूके आए परिवारों की मदद करेगा यह भारतीय उद्यमी

25 साल पहले अपनी विधवा मां के सम्मान में लूंबा फाउंडेशन की नींव रखने वाले राज लूंबा ने इस मौके पर कहा कि यूक्रेन से आने वाली महिलाओं और उनके आश्रितों की सहायता में हमारे समर्थकों की उदारता से मैं बहुत प्रभावित हुआ हूं।

Photo by Lerone Pieters / Unsplash

ब्रिटेन में बसे भारतीय मूल के राज लूंबा ने भारत की अपनी ही एनजीओ के जरिए युद्धग्रस्त यूक्रेन से अपनी जान बचाकर भागकर ब्रिटेन आने वाले परिवारों की मदद करने के लिए 60,000 पाउंड यानी लगभग 60 लाख रुपये से मदद की है। भारत और दुनिया भर में विधवाओं के जीवन में सुधार के लिए समर्पित राज लूंबा की संयुक्त राष्ट्र मान्यता प्राप्त एनजीओ लूंबा फाउंडेशन ने 23 जून को अंतरराष्ट्रीय विधवा दिवस पर अपनी 25वीं वर्षगांठ मनाई।

लूंबा फाउंडेशन ने 1,000 यूक्रेनी परिवारों की मदद करने के लिए 100,000 ब्रिटिश पाउंड तक फंड जुटाने का लक्ष्य रखा है।

लंदन में इस समारोह में एक फंड रेज यानी धन उगाही का अभियान चलाया गया। इस समारोह में पूर्व ब्रिटिश प्रधानमंत्री टोनी ब्लेयर और उनकी पत्नी चेरी ब्लेयर भी मौजूद थे। लूंबा फाउंडेशन ने 1,000 यूक्रेनी परिवारों की मदद करने के लिए 100,000 ब्रिटिश पाउंड तक फंड जुटाने का लक्ष्य रखा है।

25 साल पहले अपनी विधवा मां के सम्मान में लूंबा फाउंडेशन की नींव रखने वाले राज लूंबा ने इस मौके पर कहा कि यूक्रेन से आने वाली महिलाओं और उनके आश्रितों की सहायता में हमारे समर्थकों की उदारता से मैं बहुत प्रभावित हुआ हूं। मैं ऐसे प्रत्येक व्यक्ति को साथ आने के लिए कहना चाहता हूं जो इन परिवारों की मदद कर सकते हैं। हमारी एनजीओ बरनार्डो के साथ काम करते हुए इन परिवारों के लिए तत्काल सहायता प्रदान करने के लिए काम कर रही है। बता दें कि बरनार्डो एक ब्रिटिश चैरिटी है जिसे 1866 में थोमस जॉन बरनार्डो द्वारा शुरू किया गया था। लूंबा ने बताया कि लूंबा फाउंडेशन के प्रयास का ही फल है कि संयुक्त राष्ट्र संघ ने 2010 में 23 जून को अंतरराष्ट्रीय विधवा दिवस के रूप में नामित किया।

लूंबा फांउडेशन के अध्यक्ष चेरी ब्लेयर ने कहा कि राज लूंबा के साथ काम करना और वैश्विक समर्थकों की हमारी कम्युनिटी का बढ़ना हमारे लिए बड़ी सौभाग्य की बात रही है। भले ही हमने इतना लंबा वक्त बिता दिया है लेकिन अभी हमें और भी आगे का रास्ता तय करना है। हम तब तक आराम नहीं करेंगे जब तक कि विधवाओं को गंभीर अन्याय का सामना करना नहीं पड़ता। हमारा लक्ष्य है हर विधवा को अपने जीवन के पुनर्निर्माण और अपने बच्चों के उज्ज्वल भविष्य को सुरक्षित करने के लिए मदद मिले।

बर्नार्डो में विकास और नवाचार के कार्यकारी निदेशक मिशेल ली इजू ने कहा कि लूंबा फाउंडेशन की साझेदारी के माध्यम से जुटाए गए धन से यूके में शरण की तलाश करने वाले बच्चों और परिवारों का समर्थन करने में मदद मिलेगी। यूक्रेन से यूके में बसने वाले प्रत्येक परिवार को 100 पाउंड का एक वाउचर जारी किया जाएगा जिसे बरनार्डो की 630 भौतिक दुकानों में से किसी में या कपड़ों, खिलौनों और साज-सामान सहित आवश्यक वस्तुओं पर ऑनलाइन खर्च किया जाएगा।

उन्होंने कहा कि हम जानते हैं कि कई महिलाओं और बच्चों ने अपने पिता और पति खो दिए होंगे और सभी को अपने घर से भागकर एक नए देश में जाने का आघात झेलना पड़ा होगा। यह नई योजना उन्हें यूके में बसने की दिशा में पहला महत्वपूर्ण कदम उठाने में मदद करेगी। हमारी यह पहल सकारात्मक भविष्य की दिशा में काम कर रही है।

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