सिनसिनाटी, ओहियो (11 अगस्त, 2022): ओहियो के शहर सिनसिनाटी (अमेरिका) में पांचवां वार्षिक ‘फेस्टिवल ऑफ फेथ्स’ (विश्व धर्म शिखर सम्मेलन) को आयोजन किया गया। जेवियर विश्वविद्यालय में ‘इक्वेशन’ नामक संस्था की ओर से आयोजित इस सम्मेलन में विश्व के 13 प्रमुख धर्मों और 30 से अधिक धार्मिक संगठनों के लोग शामिल हुए। इस अवसर पर उन्होंने विभिन्न धर्मों, संस्कृतियों के बारे में जानकारी दी और उसे अपनाने की अपील भी की।
इस आयोजन में सिनसिनाटी और पास के शहर डेटन के सिखों ने भाग लिया। ग्रेटर की गुरु नानक सोसायटी, सिनसिनाटी गुरुद्वारा साहिब की संगत ने विभिन्न धर्मों के हजारों मेहमानों के लिए लंगर (सामुदायिक रसोई भोजन) परोसा। वहां आए लोग सिख धर्म में लंगर और सेवा के महत्व के बारे में जानकर प्रसन्न हुए और सिख समुदाय की प्रशंसा की।
सम्मेलन में गुरु नानक सोसायटी के कीर्तनी समूह गुरुद्वारा साहिब के ग्रंथी भाई अमरीक सिंह ने गुरबानी का कीर्तन गाया। इसमें सिखों ने भी सहभागिता दिखाई। इस अवसर पर आयोजित प्रदर्शनी में सिख प्रदर्शनी तालिका में किताबें, ब्रोशर, पुस्तिकाओं के अलावा सिख धर्म की जानकारी देने के लिए पांच बूथ बनाए गए। सिखों को यह साहित्य वितरित भी किया गया।
सम्मेलन में सिख समुदाय के सदस्यों ने पगड़ी बांधने का कार्यक्रम भी आयोजित किया। अतिथियों को भी पगड़ी बांधी गई। वहां पगड़ी पहने बच्चे, बड़े, बुज़ुर्ग बहुत उत्साहित नजर आए। वे एक दूसरे की तस्वीरें ले रहे थे और गर्व के साथ अधिवेशन में घूम भी रहे थे। कई लोग इस अधिवेशन को लेकर भाव-विभोर हो गए, क्योंकि सिख समुदाय को जानने के बारे में उनका यह पहला अनुभव था।
इस अवसर पर आयोजकों ने सम्मेलन के सह-अध्यक्ष जयपाल सिंह (41 साल) को श्रद्धांजलि अर्पित की, जिनका मई 2022 में गैस्ट्रिक कैंसर के साथ एक संक्षिप्त लेकिन बहादुर लड़ाई के बाद देहांत हो गया था। इस सम्मेलन के बारे में जानकारी देते हुए कार्यकारी निदेशक चिप हैरोड ने कहा कि इस उत्सव में हमारे 13 विश्व धर्म भाग ले रहे हैं और उनमें से सबसे प्रमुख हमारा स्थानीय सिख समुदाय है जिसने आज के आयोजन की खुशी और उत्साह में कई तरह से योगदान दिया है। इसका श्रेय हम संस्थापकों में से एक स्वर्गीय जयपाल सिंह के प्रयासों को देते हैं, जिन्होंने एक ऐसा त्योहार बनाने के लिए अपना सब कुछ दिया जो हमारी कई आस्था-आधारित परंपराओं के बीच शिक्षा, सहानुभूति, समझ और प्रेम का निर्माण करेगा। उनका योगदान हमें हमेशा याद रहेगा। स्वर्गीय जयपाल सिंह की पत्नी आसीस कौर ने इस अवसर पर कहा कि जयपाल एक उत्साही वकील थे। उन्होंने कहा कि वह हमेशा कल्याणकारी कार्यों में लगे रहते थे, साथ ही उन्होंने धर्मों, समुदायों के बीच आपसी संबंध, प्रेम और समझ बढ़ाने की कोशिश की।
इस सम्मेलन के दौरान विस्कॉन्सिन के 10 साल पहले ओक क्रीक गुरुद्वारा साहिब में मारे गए 6 सिखों को भी श्रद्धांजलि दी गई। एक चरमपंथी संगठन से जुड़े बंदूकधारी ने उनकी हत्या कर दी थी। गुरुद्वारा साहिब के ग्रंथी भाई अमरीक सिंह ने कार्यक्रम में गुरुबानी का संदेश "एक पिता एक के हम बारिक तू मेरा गुरहाई" साझा किया। जिसका सार यह था कि एक ईश्वर हमारा पिता है, हम एक ही ईश्वर की संतानें हैं।